"S"
Saturday, 24 October 2009
जाने क्यूँ...
सामने है जो उसे लोग बुरा कहते हैं I
जिसको देखा ही नहीं उसे खुदा कहते हैं I
ज़िन्दगी को भी सिला कहते हैं कहने वाले I
जीने वाले तो गुनाहों की सजा कहते हैं I
फासले उम्र के कुछ और बढा देती है I
जाने क्यूँ लोग उसे फिर भी
दवा कहते हैं I
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